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11 मानव-पुत्र खोए हुओं को बचाने के उद्देश्य से ही आया है.[a]

12 “क्या विचार है तुम्हारा? यदि किसी व्यक्ति के पास सौ भेड़ें हों और उनमें से एक भटक जाए तो क्या वह निन्यानवे को वहीं पहाड़ियों पर छोड़ उसको खोजने न निकलेगा, जो भटक गई है? 13 तब सच तो यह है कि यदि वह उसे खोज लेता है, तो वह उन निन्यानवे की बजाय, जो भटकी नहीं थीं, उस एक के लिए कहीं अधिक उल्लसित होता है, जो भटक गई थी.

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Footnotes

  1. 18:11 कुछ प्राचीनतम पाण्डुलिपियों मूल हस्तलेखों में पद 11 नहीं पाया जाता.