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11 मैं (परमेश्वर) उससे उसकी सारी हँसी खुशी छींन लूँगा। मैं उसके वार्षिक उत्सवों, नये चाँद की दावतों और विश्राम के दिनों के उत्सवों का अंत कर दूँगा। मैं उसकी सभी विशेष दावतों को रोक दूँगा। 12 उसकी अँगूर की बेलों और अंजीर के वृक्षों को मैं नष्ट कर दूँगा। उसने कहा था, ‘ये वस्तुएँ मेरे प्रेमियों ने मुझे दी थीं।’ किन्तु अब मैं उसके बगीचों को बदल डालूँगा। वे किसी उजड़े जंगल जैसा हो जायेंगे। उन वृक्षों से जंगली जानवर आकर अपनी भूख मिटाया करेंगे।

13 “वह बाल की सेवा किया करती थी, इसलिये मैं उसे दण्ड दूँगा। वह बाल देवताओं के आगे धूप जलाया करती थी। वह आभूषणों से सजती और नथ पहना करती थी। फिर वह अपने प्रेमियों के पास जाया करती और मुझे भूल जाती।” यहोवा ने यह कहा था।

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